Corona Medicine: मिल गया करोना वायरस का दवा, जानिए क्या है कीमत और कैसे करेगा काम
नई दिल्ली, एजेन्सी। आज दुनिया भर में कोरोना वायरस से बुरी तरह से पीड़ित है, उसके निदान के लिए विश्व में अलग-अलग वैक्सीन और दवा खोजी जा रही है, ऐसे में भारत ने बड़ी उपलब्धि हासिल की है।

कंपनी ने शनिवार को यह राहत भरी जानकारी दी। मुंबई की कंपनी ने शुक्रवार को कहा था कि उसे भारतीय औषधि महानियंत्रक से इस दवा के विनिर्माण और विपणन की अनुमति मिल गई है। कंपनी ने कहा कि फैबिफ्लू कोविड-19 के इलाज के लिए पहली खाने वाली फेविपिरविर दवा है, जिसे मंजूरी मिली है।
Corona Medicine: किस नाम से है दवाई और कितनी है कीमत?
ग्लेनमार्क फार्मास्युटिकल्स नाम की कंपनी करोना वायरस के दवाई को फैबिफ्लू नाम से बाजार मे उतार रही है वही कंपनी का कहना है की कि यह दवा 34 टैबलेट की स्ट्रिप के लिए 3,500 रुपये के अधिकतम खुदरा मूल्य पर 200 मिलीग्राम टैबलेट के रूप में उपलब्ध होगी। ग्लेमार्क फार्मास्युटिकल्स के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक ग्लेन सल्दान्हा ने कहा, यह मंजूरी ऐसे समय मिली है, जबकि भारत में कोरोना वायरस के मामले पहले की तुलना में अधिक तेजी से बढ़ रहे हैं। इससे हमारी स्वास्थ्य सेवा प्रणाली काफी दबाव में है।
Corona Medicine: कितनी खुराक लेनी होगी और किसे दी जा सकती है दवाई?
पहले दिन इसकी 1800 एमजी की दो खुराक लेनी होगी। उसके बाद 14 दिन तक 800 एमजी की दो खुराक लेनी होगी। ग्लेनमार्क फार्मा ने कहा कि मामूली संक्रमण वाले ऐसे मरीज जो मधुमेह या दिल की बीमारी से पीड़ित हैं, उन्हें भी यह दवा दी जा सकती है।
Corona Medicine: किसे दी जा सकती है यह दवाई?
फैबिफ्लू Covid-19 के उपचार के लिए भारत में पहली मौखिक फेविपिरविर मान्य दवा है। इसकी सिफारिश पहले दिन में 1,800 मिलीग्राम दो बार और उसके बाद रोजाना 14 दिनों तक 800 मिलीग्राम दो बार की गई है। टैबलेट का उत्पादन कंपनी द्वारा हिमाचल प्रदेश के बद्दी में किया जा रहा है। ग्लेनमार्क ने कहा कि यह दवा अस्पतालों और खुदरा चैनल दोनों माध्यम से उपलब्ध होगी। ग्लेनमार्क ने कहा कि कंपनी ने अपने इन-हाउस रिसर्च एंड डेवलपमेंट टीम के माध्यम से फैबिफ्लू के लिए सक्रिय फार्मास्युटिकल इंग्रीडिएंट और फॉर्म्युलेशन को सफलतापूर्वक विकसित किया है।
स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार देश में शनिवार को कोरोना वायरस के एक दिन में रिकॉर्ड 14,516 मामले सामने आए। अब देश में इस महामारी से संक्रमित लोगों की संख्या 411,727 हो गई है। यह महामारी अब तक 13,277 लोगों की जान ले चुकी है।